Friday, April 19th, 2024

प्लेसमेंट में पिछड़े विक्रम विश्वविद्यालय:विवि का 10 प्रकोष्ठ की स्थापना से आत्मनिर्भर बनाने का दावा, 6 घंटे फील्ड विजिट करवाएंगे

परीक्षा परिणाम सुधारने और प्लेसमेंट सुविधा देने में भी विश्वविद्यालय पिछड़ा है। विश्वविद्यालय का दायरा 180 कॉलेज और 30 अध्ययनशालाओं तक फैला है। इसके बावजूद विद्यार्थियों को रोजगार के लिए भटकना पड़ता है। उनकी स्वरोजगार की राह भी आसान नहीं हो रही है। ऐसे में उन्हें खुद ही काम की तलाश करना पड़ रही है। उनका कहना है कि विक्रम विश्वविद्यालय में पढ़ाई के बाद रोजगार की गारंटी नहीं है। विश्वविद्यालय ने हाल में जारी नोटिफिकेशन में कोर्स तो बढ़ा दिए हैं लेकिन उससे विद्यार्थियों को कितना रोजगार मिल पाएगा, यह नहीं बताया जा रहा है। उच्च शिक्षा मंत्री डाॅ. मोहन यादव के अनुसार उज्जैन सहित सात संभागों के 18666 विद्यार्थियों को रोजगार मिलेगा। उन्हें ऑनलाइन प्रशिक्षण दिया जाएगा। 6 घंटे फील्ड विजिट करवाएंगे। 4 घंटे का ऑनलाइन टेस्ट भी लिया जाएगा। उनका कहना था कि भोपाल-नर्मदापुरम, ग्वालियर-चंबल, इंदौर, सागर, रीवा, जबलपुर के साथ उज्जैन के 18666 विद्यार्थी पहली बार एक साथ ऑनलाइन प्रशिक्षण लेंगे। उच्च शिक्षा विभाग मध्यप्रदेश शासन स्वामी विवेकानंद कॅरियर मार्गदर्शन योजना के जरिए अल्पावधि स्वरोजगारोन्मुखी प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसके बावजूद हालात में सुधार नहीं आया।

आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में बनाए यह 10 प्रकोष्ठ
आत्मनिर्भर विवि की दिशा में कंप्यूटर विज्ञान संस्थान में 10 विभिन्न प्रकोष्ठ की स्थापना की है। जिनमें आंत्रप्रन्योरशिप सेल, ट्रेंनिंग एंड प्लेसमेंट सेल, आईपीआर सेल, रिसर्च एंड डेवलपमेंट सेल, आईटी सेल, इंडस्ट्री व इंस्टीट्यूट लिंकेज सेल, स्किल डेवलपमेंट सेल, एलुमनी सेल, ऑनलाइन सेल व काउंसलिंग सेल शामिल है। इससे स्वरोजगार में मदद मिलेगी।

इसके बावजूद प्लेसमेंट में सुधार नहीं आ पाया है। कुलपति प्रो. अखिलेश कुमार पांड्ये का कहना है कि कंप्यूटर विज्ञान संस्थान में 10 विभिन्न प्रकोष्ठ की स्थापना की है। इससे विद्यार्थियों के कौशल विकास में मदद मिलेगी। जिससे वे आत्मनिर्भर बन सकेंगे। उन्हें रोजगार मिलने में भी आसानी होगी।

 

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